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रईस
बहराइच। जिलाधिकारी मोनिका रानी ने 28 जून 2025 को बहराइच जिले के विभिन्न ग्रामों में विकास कार्यों और सार्वजनिक सुविधाओं की स्थिति का आकलन करने के लिए औचक निरीक्षण किया। इस दौरान कई सामुदायिक शौचालय, स्कूल, आंगनबाड़ी केंद्र, और पंचायत भवन बंद पाए गए, जिस पर डीएम ने कड़ी नाराजगी जताई और संबंधित अधिकारियों व कर्मचारियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई के निर्देश दिए।
निरीक्षण का विवरण
डीएम मोनिका रानी ने विकास खंड चित्तौरा के ग्राम फुलवरिया में आरोग्य मंदिर और आंगनबाड़ी केंद्र, विकास खंड रिसिया के ग्राम लौकी में सामुदायिक शौचालय, ग्राम बिबियापुर में आंगनबाड़ी केंद्र और प्राथमिक विद्यालय, ग्राम भोपतपुर चौकी में सामुदायिक शौचालय, ग्राम खुदादादभारी में पूर्व माध्यमिक विद्यालय, और ग्राम बंगलाचक में पंचायत भवन का निरीक्षण किया।
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ग्राम फुलवरिया: आरोग्य मंदिर और आंगनबाड़ी केंद्र
आरोग्य मंदिर: निरीक्षण के दौरान सीएचओ सारिका गुप्ता मौके पर मौजूद थीं, लेकिन परिसर में साफ-सफाई की कमी पाई गई। डीएम ने नाराजगी जताते हुए भवन और परिसर की समुचित साफ-सफाई सुनिश्चित करने के निर्देश दिए। साथ ही, मरीजों का विवरण पोर्टल पर नियमित रूप से अपडेट करने और शासन द्वारा अनुमन्य सुविधाएं उपलब्ध कराने का आदेश दिया। सीएचओ ने बताया कि पांच मरीजों का उपचार किया गया था।
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आंगनबाड़ी केंद्र: यह केंद्र निरीक्षण के समय बंद पाया गया।
ग्राम लौकी और भोपतपुर चौकी
दोनों ग्रामों में सामुदायिक शौचालय बंद पाए गए। डीएम ने इस लापरवाही पर कड़ा संज्ञान लिया और संबंधित केयरटेकर से स्पष्टीकरण मांगने के लिए जिला पंचायत राज अधिकारी को निर्देश दिए।
ग्राम बिबियापुर: आंगनबाड़ी केंद्र और प्राथमिक विद्यालय
आंगनबाड़ी केंद्र: केंद्र खुला था, और डीएम ने मौजूद आंगनबाड़ी कार्यकत्री से बच्चों की उपस्थिति और पुष्टाहार वितरण की जानकारी ली। उन्होंने लाभार्थियों के केवाईसी और फेस ऑथेंटिकेशन की प्रक्रिया को घर-घर जाकर पूरा करने का निर्देश दिया।
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प्राथमिक विद्यालय: यह विद्यालय बंद पाया गया, जिस पर डीएम ने कड़ी नाराजगी जताई।
पूर्व माध्यमिक विद्यालय (खुदादादभारी) और पंचायत भवन (बंगलाचक) भी निरीक्षण के दौरान बंद पाए गए।
सख्त कार्रवाई के निर्देश
डीएम मोनिका रानी ने बंद पाए गए स्कूलों, आंगनबाड़ी केंद्रों, सामुदायिक शौचालयों, और पंचायत भवनों को लेकर सख्त रुख अपनाया। उन्होंने निम्नलिखित कार्रवाइयों के निर्देश दिए:
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- वेतन रोकने के आदेश: संबंधित एडीओ पंचायत, ग्राम सचिव, सफाई कर्मी, और अन्य जिम्मेदार कर्मचारियों का वेतन अग्रिम आदेशों तक रोकने का निर्देश दिया गया।
- स्पष्टीकरण प्रस्तुत करने का निर्देश: संबंधित कर्मचारियों को तीन दिनों के भीतर स्पष्टीकरण प्रस्तुत करने के लिए कहा गया। डीएम ने चेतावनी दी कि यदि स्पष्टीकरण संतोषजनक नहीं हुआ, तो नियमानुसार विभागीय कार्रवाई की जाएगी।
- स्कूलों की बंदी पर आख्या: बंद पाए गए विद्यालयों के संबंध में जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी (बीएसए) को कारण सहित विस्तृत आख्या प्रस्तुत करने का निर्देश दिया गया।
- सामुदायिक शौचालयों की जांच: बंद शौचालयों के लिए जिला पंचायत राज अधिकारी को केयरटेकर से स्पष्टीकरण प्राप्त करने का आदेश दिया गया।
डीएम की चेतावनी
डीएम मोनिका रानी ने स्पष्ट किया कि शासन की योजनाओं और जनता की सुविधाओं के प्रति लापरवाही बर्दाश्त नहीं की जाएगी। उन्होंने सभी संबंधित अधिकारियों और कर्मचारियों को अपनी जिम्मेदारियों का निर्वहन पूरी तत्परता से करने और शासन द्वारा संचालित सुविधाओं को सुचारू रूप से संचालित करने के निर्देश दिए।
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डीएम मोनिका रानी का यह औचक निरीक्षण जिले में विकास कार्यों और सार्वजनिक सुविधाओं की जमीनी हकीकत को सामने लाने में महत्वपूर्ण रहा। बंद पाए गए शौचालय, स्कूल, आंगनबाड़ी केंद्र, और पंचायत भवनों की स्थिति ने प्रशासनिक लापरवाही को उजागर किया। डीएम के सख्त निर्देशों और कार्रवाइयों से यह संदेश स्पष्ट है कि जनता की सुविधाओं और शासकीय योजनाओं के प्रति किसी भी प्रकार की लापरवाही को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा।