अतुल्य भारत चेतना
ब्युरो चीफ हाकम सिंह रघुवंशी
विदिशा। मध्यप्रदेश रक्त सहायता समिति के चेयरमैन उदय सिंह हजारी हाल ही में अपनी निजी अमेरिका यात्रा से भारत लौटे हैं, जहां उन्होंने स्वैच्छिक रक्तदान के प्रति जागरूकता फैलाने का एक प्रेरणादायी अभियान चलाया। इस यात्रा के दौरान उन्होंने अमेरिका के प्रमुख शहरों में रक्तदान का संदेश दिया और कई कार्यक्रमों में भाग लेकर लोगों को इसके लिए प्रेरित किया। उनकी इस पहल ने न केवल भारत बल्कि वैश्विक मंच पर भी मानवता के प्रति उनके समर्पण को उजागर किया है।
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पियोरिया में सेमिनार: वैश्विक मंच पर विदिशा का गौरव
उदय सिंह हजारी ने 3 जून 2025 को अमेरिका के पियोरिया स्थित ओएसएफ मेडिकल सेंटर में आयोजित एक सेमिनार में भाग लिया। इस सेमिनार का उद्देश्य विश्व स्वास्थ्य संगठन (डब्ल्यूएचओ) के मानकों के अनुसार भारत और अमेरिका के युवाओं को स्वैच्छिक रक्तदान के प्रति जागरूक करना था। इस अवसर पर हजारी ने रक्तदान के महत्व और इसके जीवन रक्षक पहलुओं पर प्रकाश डाला। उन्होंने उपस्थित लोगों को बताया कि रक्तदान न केवल एक सामाजिक जिम्मेदारी है, बल्कि यह मानवता के प्रति एक सच्ची सेवा भी है।
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विशेष रूप से उल्लेखनीय रहा कि सेमिनार में उपस्थित लोगों ने मध्यप्रदेश के विदिशा जिले की सराहना की, जहां से उदय हजारी का संबंध है। कई वक्ताओं ने कहा कि विदिशा जैसे छोटे शहर से निकलकर कोई व्यक्ति वैश्विक मंच पर मानवता का संदेश लेकर पहुंचे, यह पूरे भारत के लिए गर्व की बात है। हजारी ने इस प्रशंसा को अपने अभियान की प्रेरणा का स्रोत बताया और कहा कि उनका उद्देश्य रक्तदान को एक जन आंदोलन के रूप में स्थापित करना है।
कैटरपिलर कंपनी के 1011 कर्मचारियों का संकल्प
हजारी की इस यात्रा का सबसे महत्वपूर्ण परिणाम रहा कैटरपिलर कंपनी के 1011 अधिकारियों और कर्मचारियों द्वारा स्वैच्छिक रक्तदान का संकल्प लेना। अमेरिका की मेडिकल प्राइवेसी नीतियों और सुरक्षा नियमों के कारण हजारी स्वयं रक्तदान नहीं कर सके, क्योंकि विदेशी नागरिकों को रक्तदान से पहले विशिष्ट जांच और स्वीकृति प्रक्रिया से गुजरना होता है। फिर भी, उन्होंने इस मंच का उपयोग करते हुए उपस्थित लोगों से अपील की कि वे नियमित रूप से रक्तदान करें और दूसरों को भी इसके लिए प्रेरित करें। उनकी प्रेरक बातों से प्रभावित होकर कैटरपिलर कंपनी के कर्मचारियों ने यह ऐतिहासिक संकल्प लिया, जो रक्तदान जागरूकता के क्षेत्र में एक सराहनीय कदम है।
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भारत लौटकर नई ऊर्जा के साथ सक्रिय
मध्यप्रदेश रक्त सहायता समिति के प्रचार सचिव राहुल सिंह हजारी ने बताया कि उदय सिंह हजारी अब अमेरिका यात्रा पूर्ण कर भारत लौट आए हैं और समिति के कार्यों में पुनः सक्रिय रूप से योगदान दे रहे हैं। उन्होंने संकल्प लिया है कि वे देशभर के युवाओं को रक्तदान के लिए प्रेरित करेंगे और इस अभियान को गांव-गांव तक ले जाएंगे। राहुल सिंह ने कहा, “उदय जी का यह प्रयास न केवल मध्यप्रदेश बल्कि पूरे देश के लिए एक प्रेरणा है। उनकी अगुवाई में हम रक्तदान को एक जन आंदोलन के रूप में स्थापित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं।”
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रक्तदान: एक जीवनदायी कार्य
रक्तदान को महादान कहा जाता है, क्योंकि यह अनगिनत जिंदगियों को बचाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। आपातकालीन परिस्थितियों, जटिल सर्जरी, प्रसव संबंधी समस्याओं, थैलेसीमिया, कैंसर, और एनीमिया जैसी बीमारियों के इलाज में रक्त की आवश्यकता होती है। उदय हजारी का यह अभियान न केवल जागरूकता फैलाने में मदद कर रहा है, बल्कि लोगों को स्वैच्छिक रक्तदान के लिए प्रेरित भी कर रहा है। उनकी यह पहल भारत और अमेरिका जैसे देशों के बीच सामाजिक सहयोग और मानवता के मूल्यों को मजबूत करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
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उदय सिंह हजारी ने संकल्प लिया है कि वे भारत में रक्तदान जागरूकता अभियान को और व्यापक बनाएंगे। उनकी योजना है कि स्कूलों और कॉलेजों में रक्तदान को एक जागरूकता अभियान के रूप में पढ़ाया जाए, ताकि युवा इसे अपनी जिम्मेदारी समझें। इसके अलावा, समिति की ओर से प्रत्येक ब्लॉक और तहसील स्तर पर साल में दो बार रक्तदान शिविर आयोजित करने की योजना है, ताकि अधिक से अधिक लोगों तक यह संदेश पहुंच सके। मध्यप्रदेश रक्त सहायता समिति और उदय सिंह हजारी की यह पहल न केवल सामाजिक जागरूकता को बढ़ावा दे रही है, बल्कि रक्तदान जैसे नेक कार्य को एक जन आंदोलन का रूप दे रही है। उनकी इस प्रेरणादायी यात्रा ने साबित कर दिया है कि सच्ची सेवा और समर्पण की कोई सीमा नहीं होती।