आम का बौर दिखाते कृषि सलाहकार
अतुल्य भारत चेतना
सवांददाता
सीतापुर/लहरपुर। आम की फसलों पर कीट और रोगों का प्रकोप होता है,जिसकी निगरानी कर सही समय पर उपचार किया जाए तो नुकसान से बचा जा सकता है, आम के बौर के पास गौर से देखने पर कीड़े दिखाई पड़ जाएंगे,बौर में खरों रोग आने पर कहीं-कहीं पर कालापन भी दिखाई देने लगता है और देखते ही देखते पूरी आम की फसल चौपट हो जाती है। यह बात नवीन खुशहाली किसान सेवा केंद्र (यू ए एग्रो ) सीतापुर के विकास प्रबन्धक/कृषि सलाहकार श्री सुधांशु तिवारी ने अकबर पुर के तरण पुर के बागवानों (किसानों) को विस्तार से बताया कि रोग के बारीक कण बौरो पर सफेद चूर्ण की तरह दिखाई देते हैं और बौर में लगते ही उनके झड़ने का कारण बनता है।फलों पर पुरी तरह से सफेद चूर्ण फैल जाता है,इसका अधिक प्रकोप होने पर फसल की ऊपरी परत फट जाती हैं तथा खुरदरी हो जाती है

उन्होंने बताया कि सल्फर 0.2 प्रतिशत का घोल बनाकर छिड़काव उस समय करें, जब बौर तीन से चार इंच का होता है।दूसरे छिड़काव 15 से 20 दिनों के बाद तीसरा ट्राईडीमार्फ (कैलिक्सीन 0.1प्रतिशत) का छिड़काव करना चाहिए। आम के फल यदि मटर के बराबर हो जाए तो उसकी सिंचाई निरंतर करते रहना चाहिए।सभी दवाएं और कृषि सलाह अपने नजदीकी किसी भी नवीन खुशहाली किसान सेवा केंद्र से किसान मदद ले सकते हैं,उक्त अवसर पर राज कुमार बाजपाई,राजेश वर्मा जी,अविनेंद् कुमार,अंकित,देवंद्र सिंह सहित कृषि सलाहकार मौजूद रहे।
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